किस्म एवं प्रौद्योगिकी पहचान समिति की बैठक वेबिनार के माध्यम से दिनांक 16.06.2020 और 17.06.2020 को आयोजित किया गया।
संस्थान स्तर पर वीटीआईसी द्वारा पहचान के लिए करेला आरटीएस जूस, नवनीत फल स्प्रेड, नवनीत फल चटनी, मृदा-रहित सब्जी-उत्पादन के लिए द्रव पोषकतत्व मिश्रण और जर्बेरा की एक किस्म से संबधित प्रस्तावों पर विचार करने के लिए 16-06-2020 को दोपहर 2.00 बजे और 17-06-2020 को 3.00 बजे वेबिनार आयोजित किया गया। बैठक की अध्यक्षता आईसीएआर-आईआईएचआर के निदेशक डॉ. एम.आर. दिनेश, अध्यक्ष वीटीआईसी ने की और संस्थान के लगभग 40 वैज्ञानिकों ने भाग लिया।
शुरुआत में, डॉ. रघु, बी.आर. वीटीआईसी के नोडल अधिकारी ने बैठक में अध्यक्ष और सभी सदस्यों का स्वागत किया। नोडल अधिकारी ने डॉ. अश्वथ सी., प्रधान वैज्ञानिक एवं प्रभारी अध्यक्ष, पुष्प एवं औषधीय फसल विभाग को नव-प्रजनित जर्बेरा किस्म पर प्रस्ताव पेश करने के लिए आमंत्रित किया। प्रस्तुति और गहन चर्चा के बाद, अर्का रेड के नाम से संस्थान स्तर पर विमोचन के लिए जर्बेरा किस्म की पहचान की गई। इसके बाद, नोडल अधिकारी ने करेला का आरटीएस जूस, नवनीत फल स्प्रेड, नवनीत फल चटनी पर प्रस्ताव पेश करने के लिए सस्योत्तर प्रौद्योगिकी एवं कृषि अभियांत्रिकी के वैज्ञानिक डॉ. रंजीता के. को आमंत्रित किया। प्रस्तुति और चर्चा के बाद, करेले का आरटीएस रस, नवनीत फल स्प्रेड, नवनीत फल चटनी को क्रमशः अर्का हागलारसा, एवोकेडो स्प्रेड और एवोकैडो चटनी के रूप में व्यावसायीकरण के लिए पहचाना गया। बाद में 17/06/2020 को अपराह्न 3.00 बजे, डॉ. कलावनन डी., वैज्ञानिक, प्राकृतिक संसाधन विभाग ने मृदा-रहित सब्जी-उत्पादन के लिए पोषक तत्व मिश्रण पर प्रस्ताव प्रस्तुत किया। प्रस्तुति और गहन चर्चा के बाद, अर्का न्यूट्री ग्रो के रूप में व्यावसायीकरण के लिए इस प्रौद्योगिकी की पहचान की गई। डॉ. रघु, बी.आर. द्वारा धन्यवाद प्रस्ताव के साथ बैठक समाप्त हुई।